- 282 Posts
- 397 Comments
बताते चले इस देश में मनमोहन सिंह को बहुत ही ईमानदार समझा जाता है, जाता रहा है. लेकिन अब आगे किस आधार पर उन्हें ईमानदार कहा जा सकता है. इसी पर हमें कुछ बातें भी और भी है कब तक जनता तुम्हारी बातो में उलझी रहेगी. कभी तो कहेगी ही. कब तक बहकाओगे. किसी न किसी दिन तो सब कुछ पाक साफ हो ही जायेगा, तब आप की स्थिति क्या होगी सोचा कभी ?
अभी तक जो भी सरकार के नुमयिन्दो द्वारा जो भी जनता के धन से खेल खेले गए वह सभी से आप या आपके पीएमओ सभी प्रत्यक्ष रूप से जुड़े रहे है या फिर परोक्ष रूप से. तब आप केवल यह कह कर मई इस घोटाले और उस घोटाले की जिम्मेदारी लेता हूँ, कह कर जनता के धन की लूट को स्वीकार कर अपनी जिम्मेदारी से बच सकेंगे. क्या आप अपने आफिस में इस बात की पड़ताल कर चुके की किन लोगो की साजिस से यह सब कुछ घपले और घोटालो को जन्म दिया गया. कौन सा पीएमओ का जिम्मेदार आप की जिम्मेदारी से खेल रहा है उसकी जांच पड़ताल तो आप ने की ही नहीं. यानि आप भी इस खेल को स्वीकार कर और जिम्मेदारो को खेलने के कुछ और अवसर दे रहे है या फिर खुद इन खेलो में लिप्त है या अपनी पार्टी के लिए धन जुटाने में ही जिम्मेदारी ले जनता के धन को धोखा दे रहे है.
कहाँ कहाँ गलती मानोगे प्रधानमंत्री जी? आप तो बड़े ही इमानदार भ्रष्टाचारी निकले जी. अपनी इमाग बचने के लिए दुनिया भर की बयानबाजी और नाटकबाजी अब तो बंद कर दो भाई जैसा की आप सभी लोग जानते ही है हिंदुस्तान के कानून के तहत किसी भी अपराध के लिए साथ देना चाहे वह योजना बनाने में हो या फिर साथ में रह कर अपराध करने- करने में भी धरा 120 बी के तहत दंडनीय और सजा के लिए पर्याप्त होता है. अब तो इस देश के प्रधान मंत्री मनमोहन सिंह जी ने तो मान भी लिया है की सीवीसी पद पर नियुक्ति में उन्ही का पूरा हाथ है. यानि उन्ही के देख रेख में सीवीसी पद पर नियुक्ति की गयी. यानि आप सब कुछ जानते हुए भी थामस की नियुक्ति के जिम्मेदार है. एक ऐसे सवैधानिक पद के साथ खिलवाड़ करने का केवल इतना कह देना मई सीवीसी की नियुक्ति के लिए जिम्मेदार हूँ, बस कथा समाप्त हो जाती है.
मनमोहन जी कहाँ कहाँ यही बात दोहराओगे. मैंने तो २ G स्पेक्ट्रुम घोटाले में भी कहा था कही न कही पीएमओ का भी हाथ जरूर है. यह सभी के सभी कम जनता के धन से खिलवाड़ के लिए ही किये जा रहे है जो या तो कांग्रेस पार्टी लिए धन जुटाने या फिर कोई तो ऐसी बात है ही जिससे आप लचर है और अपने ही घर में लुटेरे को खोज नहीं पा रहे है. या जान बूझ कर ताल रहे है.
प्रिय प्रधान मंत्री जी आप द्वारा घोटालो और दागियों की नियुक्ति ही आप को देश के धन से खिलवाड़ और जनता से धोखा और खड्यंत्र में शामिल रहने के लिए भारतीय दंड विधान में अपराधी है. यदि आप अपराधी नहीं तो इस देश का कोई भी लुटेरा अपराधी नहीं है.
Read Comments